सोनिया की मांग-गरीब मजदूरों के खाते में तुरंत भेजे जाएं साढ़े सात-सात हजार रुपये

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सोनिया की मांग-गरीब मजदूरों के खाते में तुरंत भेजे जाएं साढ़े सात-सात हजार रुपये

  • सोनिया का आरोप- सुझाव पर ध्यान नहीं दे रही है सरकार
  • सोनिया ने पीपीआई किट की कमी का भी मसला उठाया
कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ने एक बार पीपीई किट की कमी और खराब गुणवत्ता का सवाल उठाया है. कांग्रेस वर्किंग कमेटी (सीडब्लूसी) की बैठक में सोनिया गांधी ने पीपीई किट की खराब क्वालिटी पर चिंता जाहिर की और साथ ही कहा कि देश में कोरोना टेस्टिंग अभी बहुत कम संख्या में हो रही है, यह काफी गंभीर बात है.

मोदी सरकार पर आरोप लगाते हुए सोनिया गांधी ने कहा कि हमने बार-बार प्रधानमंत्री से कहा है कि टेस्टिंग का कोई विकल्प नहीं है. इसके बावजूद भी टेस्टिंग कम हो रही है और पीपीई भी अच्छी क्वालिटी के नहीं है. हमने काफी सुझाव दिए, लेकिन सरकार उनको अमल में लाने के लिए कोई सक्रियता नहीं दिखा रही है.
बैठक में सोनिया गांधी ने मांग की कि गरीबों-मजूदरों-किसानों के खाते में तुरंत 7500 रुपये ट्रांसफर किए जाने चाहिए. मजदूरों को खाद सुरक्षा मुहैया कराने के लिए तुरंत कदम उठाए जाएं. सोनिया ने कहा कि हमें कोरोना वॉरियर्स को सलाम करना चाहिए. तमाम हेल्थ वर्कर, जो बिना जरूरी मेडिकल उपकरण के भी फील्ड पर काम कर रहे हैं.
किसानों का मसला उठाते हुए सोनिया गांधी ने कहा कि लॉकडाउन की वजह से देश के किसान सबसे अधिक परेशान हैं. कमजोर और अस्पष्ट खरीद नीतियों के अलावा सप्लाई चेन में आ रही दिक्कतों ने किसानों को बेहाल कर दिया है. उनकी समस्याओं का जल्द से जल्द निपटारा किया जाना चाहिए. खरीफ फसल के लिए भी किसानों को सुविधाएं मिले.